पिछली दो पोस्ट्स पर आप लोगों ने जो प्यार और प्रोत्साहन दिया है..मैं नत-मस्तक हूँ ...आपके सुझावों पर अमल करने की कोशिश कर रही हूँ...म्यूजिक भी डालूंगी..बस थोड़ा समय चाहिए उसे बनाने के लिए...कोशिश ये है कि कुछ ओरिगिनल बना कर डालूँ...
तो एक बार फिर हाज़िर हूँ पाँच पोस्ट्स लेकर...जिन्हें आपने भी पसंद किया है और मैंने भी...
अगर जो पढ़ नहीं पाए हैं समयाभाव के कारण तो बस आँखें बंद कीजिये और सुन लीजिये...
आशा ही नहीं अपितु विश्वास है, पसंद आएगी आपको मेरी यह प्रस्तुति...
धन्यवाद...ये प्लयेर बिना म्यूजिक के है...सिर्फ़ मेरी आवाज़.....
नीचे वाले प्लयेर में म्यूजिक डालने की कोशिश की है...अगर ठीक लगे तो सुनिए ....
हमने तो म्यूजिक के ताम झाम के साथ मौज लेकर सुनी, आनन्द आया.
ReplyDeletenice
ReplyDeleteहमेशा की तरह, लाजवाब।
ReplyDeleteकभी कभी मयंक की कोई रचना भी डाल दिया कीजिये।
आभार।
विवादों को नजर अंदाज कर निस्वार्थ हिन्दी की सेवा करते रहें, यही समय की मांग है.
ReplyDeleteहिन्दी के प्रचार एवं प्रसार में आपका योगदान अनुकरणीय है, साधुवाद एवं अनेक शुभकामनाएँ.
-समीर लाल ’समीर’
मजा आ गया अदा जी, सबसे पहले आपको समीर जी के ब्लॉग पर देखा था और आज विश्लेषण में तो आपने आवाज और चुनाव दोनों के माध्यम से समाँ बाँध दिया, थोडा हटकर रही बात !
ReplyDeleteआते रहना पड़ेगा :)
बहुत अच्छे लिंक्स ....कोई शक नहीं ...
ReplyDeleteअदा बहुत बोलती है ....क्या शक है ...:):)
ये भी एक कला है , अदा है ....हर किसी के वश में कहाँ है ....
वैसे .. कोई रिश्वत भी चलेगी क्या आपके ब्लॉग समाचार में शामिल होने के लिए ...हम भारतीयों का कोई काम होता नहीं है लिए दिए बिना
आदत से मजबूर हैं इसलिए पूछे ले रहे हैं (j/k)
थोडा हटकर
ReplyDeleteदोनों सुनी ज्यादा अंतर नहीं है ....बहुत अच्छी प्रस्तुति ...............मनमोहक आवाज और दिलकश अंदाज़ के साथ
ReplyDeleteएक बार फिर बेहतरीन ...प्रस्तुती
ReplyDeleteवाह!,काफ़ी समय हुआ आप का आगमन "सच में" पर नहीं हुया.
ReplyDeleteशुभकामनाएँ.!!
ReplyDeleteबढ़िया प्रस्तुति अदा जी । बधाई।
ReplyDeleteकायनात का जादू ... आपकी आवाज़ , ........ जादू इसे कहते हैं , अदा इसे कहते हैं !
ReplyDeleteमेरी शुभकामनायें
ReplyDeleteबहुत बहुत बहुत
ReplyDeleteबहुत ही अच्छी
आवाज और
चयन उससे भी
बहुत बहुत बहुत
ही मनभावन।
न रिश्वत से न नाम से
पोस्ट की चर्चा होगी उसमें
प्रस्तुत किए गए विचार से।
बहुत बढ़िया तरीका है ... और आपकी आवाज़, लहजा और चयन भी अति सुन्दर है ....
ReplyDeleteबढ़िया प्रस्तुति!
ReplyDeleteब्लॉग समाचार सुनकर आनन्द आ गया!
जब से मेरठ छोड़ कर नोएडा आया, एक हूक सी रहती थी कि कोयल की कूक अब कहीं सुनाई नहीं देती...
ReplyDeleteसुबह-सुबह अदाजी की आवाज़ सुनने के इस नए सिलसिलने ने वो कमी दूर कर दी है...
जय हिंद...
आपकी आवाज़, लहजा और चयन अति सुन्दर है ....
ReplyDeleteज्ञानदत्त ने लडावो और राज करो के तहत कल बहुत ही घिनौनी हरकत की है. आप इस घिनौनी और ओछी हरकत का पुरजोर विरोध करें. हमारी पोस्ट "ज्ञानदत्त पांडे की घिनौनी और ओछी हरकत भाग - 2" पर आपके सहयोग की अपेक्षा है.
ReplyDeleteकृपया आशीर्वाद प्रदान कर मातृभाषा हिंदी के दुश्मनों को बेनकाब करने में सहयोग करें. एक तीन लाईन के वाक्य मे तीन अंगरेजी के शब्द जबरन घुसडने वाले हिंदी द्रोही है. इस विषय पर बिगुल पर "ज्ञानदत्त और संजयदत्त" का यह आलेख अवश्य पढें.
-ढपोरशंख
मैं बहुत दिनों से टी,वी. नहीं देख रहा हूँ.
ReplyDeleteआपने यह प्रयोग कर मन हर्षित कर दिया.
अभी सुन रह हूँ.
@ खुशदीप सहगल
ReplyDeleteशत प्रतिशत
100 या
200 नहीं
सीधे
हजार प्रतिशत सहमत।
वाह्………॥बहुत ही सुन्दर अन्दाज़-ए-बयाँ।
ReplyDeleteआज तो अंदाज़ और भी खूबसूरत रहा ब्लॉग रेडिओ का.. म्यूजिक और बिन म्यूजिक दोनों सुने.. म्यूजिक वाला थोड़ा और बेहतर लगा दी..
ReplyDeleteबहुत आनंद आया!
ReplyDeleteबहुत सुन्दर.. बहुत अच्छी प्रस्तुति....
ReplyDeleteएक सुझाव.. - चयनित पोस्ट का लिकं अगर पोस्ट में लगा दे तो सुविधा होगी..
उफ़....क्या अदा है,क्या अंदाज़ है और क्या आवाज़ है...
ReplyDeleteहम तो एकदमे कन्फ्यूजिया गए कि ई रेडियो मिर्ची का कार्यक्रम है कि कुछ और....
बाप रे बाप...आपकी प्रतिभा...उफ़...
सुन्दर रहा समाचार !
ReplyDeleteरंजन जी का सुझाव काबिले-गौर है |
समाचार के साथ आपकी आवाज में इकबाल साहब
का तराना भी अच्छा लगा |
आभार !
waaaaaaaaaah maza aa gaya....clap kar lu jara fir aati hu tohar waste tippani karne...
ReplyDeletebhai sach me maanNa padega aapki is mazedaar commentry ko jo bina atke aap bole ja rahi thi..sach aisa lag raha tha jaise koi radio prog.sun rahe hai.
ha.n bas agli baar jara muh me misri daal lena...awaaz thodi aur clear ho jayegi...ha.ha.ha.nice experience and a successful blog charcha.
congrats.again.
अदा जी,
ReplyDeleteबहुत बढ़िया प्रस्तुतिकरण और उतनी ही दिलकश ठसक भरी आवाज।
समाचार या कोई रिपोर्ताज के कहने का फ्लो भी बड़ा मायने रखता है....और आपने उस फ्लो को अंत तक बनाए रखा...अपने हिसाब से संपादित और आवाज में उतार चढ़ाव को बनाए रखते हुए।
बहुत सुंदर...
अब तो बिना ब्लोग समाचार सुने चैन नही पडेगा .
ReplyDeletebahut hi umda...aapki awaaz hi kaafi hai...music ki zarurat nahi...
ReplyDeleteAanan a gaya Ada ji ... aapkimadhur khanakti aawaaz mein jaadoo hai ...
ReplyDeleteमैं तो शाम को नींद लेकर उठा और जागा तो कंप्यूटर की तरफ भागा कि प्रसारण चालू हो गया होगा परन्तु अभी तो रात ही है। अब सुबह का इंतजार है ...
ReplyDeleteandaje bayan khub kaha...bahut hi aachi aawaj
ReplyDeletepura suna, dil khush ho gaya.
ReplyDeleteएक अपील ;)
हिंदी सेवा(राजनीति) करते रहें????????
;)
अद्भुत अदा है ये....
ReplyDeleteक़ातिलाना...
मैं मीडिया में काम कर रहा हूं...
आकाशवाणी में भी काम कर चुका हूं....
ऐसी आवाज़...
बहुत ही अच्छा...
आप अगर साउंड फोर्ज उपयोग कर रही हैं...तो उसके प्रयोग से आप इस बुलेटिन के पहले और बाद में भी एक सिग्नेचर ट्यून लगा सकती हैं....
बुलेटिन के लिए सिग्नेचर ट्यून मैं स्वयं भी ढूंढ रहा हूं....आपको शीघ्र ही मेल करूंगा....
बाकी यही कहूंगा कि...
मारे खुशी के लबों से आह निकलती रही...
मगर न लफ़्ज़ निकला एक हर अदा कमाल थी...
खूबसरत खनकती आवाज़ में ब्लॉग समाचार सुनने का आनन्द ही कुछ अलग है... अदा की आवाज़ की आदत न हो जाए और पढना भूल जाएँ.... :)
ReplyDeletehnm...
ReplyDeletesunder prastuti...
वाह ..............!
ReplyDeleteअदा जी आपका शुक्र गुजार हू जो आपने इस नाचीज़ को इतनी इज्जत दी.
ReplyDeleteवैसे तो मै आपका लहजा आपकी कमेन्ट करने के तरीके से ही समझ गया था.
रही सही कसार आपकी आवाज ने पूरी कर दी.
भगवान हमेशा आपकी वाणी में ऐसे ही मिठास बरकरार रखे.
मुझे कई दिन तो पता ही नही चल पाया फिर आज आपकी कमेन्ट पढ़ने से कुछ पहले मेरे एक दोस्त हरदीप राणा (कुंवर जी )ने बताया की अदा जी ने तेरा कही पे उल्लेख किया हैं
तब मुझे आपकी वाणी अमृत सुनने का मौका मिला.
एक बार फिर आभार के साथ
संजीव राणा
हिन्दुस्तानी