tag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post2119172154743780593..comments2024-03-13T13:33:28.274+05:30Comments on काव्य मंजूषा: आज मुझे कंस की बहुत याद आई है ...स्वप्न मञ्जूषा http://www.blogger.com/profile/06279925931800412557noreply@blogger.comBlogger29125tag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-17799939730334213422010-05-09T11:35:25.960+05:302010-05-09T11:35:25.960+05:30एक अलग अंदाज़ अपनी सोच को अभिव्यक्त करने का.....
...एक अलग अंदाज़ अपनी सोच को अभिव्यक्त करने का.....<br /><br />कंस के प्रति जो सोच है उससे सहमत ना होते हुए भी आपके नज़रिए पर विचार कर रही हूँ....<br /><br />अमरेन्द्र जी की बात सही है की कंस तो देवकी को मारना ही चाहता था ...वासुदेव की प्रार्थना पर ही उनको कारावास में रखा गया...<br /><br />क्या आप जानती हैं कि कंस के माता -पिता कौन थे और उनका क्या इतिहास था? कंस इतना अत्य्चारी क्यों था?संगीता स्वरुप ( गीत )https://www.blogger.com/profile/18232011429396479154noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-46807354408095340692010-05-09T00:13:00.459+05:302010-05-09T00:13:00.459+05:30देवकी कंस के लिए बस मौत ही जनती रहीभाई के लिए पाप ...देवकी कंस के लिए बस मौत ही जनती रहीभाई के लिए पाप के कई कारण बुनती रही<br />जानती थी देवकी बच्चों की मौत हो जायेगी<br />फिर भला क्यों कोई माँ बच्चे ही जनती जायेगी ? देवकी की हर प्रसूति उसे हिला कर जाती थी हर बच्चे में मृत्यु-भय घोर पाप करवाती थी<br />देवकी भी कंस के संग पाप की भागी बनी है<br />ये न सोचे वो कि उसके पाप में कोई कमी है <br /><br />मैं यहाँ आपकी बात से सहमत नहीं हूँ. <br /><br />जब बहन को भाई के कृत्य पता थे..<br />सारी प्रजा उस से दुखी थी ये <br />हाल भी तो सब सुने थे...<br />त्राहि त्राहि कर रहे थे जब सब लोग..<br />बढ़ने लगे थे जब सब तरफ से <br />कंस के अत्याचार और जोर <br />चाहते थे सब बस कंस की मौत <br />आकाशवाणी हुई जब <br />देवकी गयी जान <br />तो क्यों ना करती उस धरती को<br />कंस से आजाद<br />जिसके लिए देवता भी थे <br />सब तैयार<br />और प्रजा भी परेशान<br />बेशक देवकी को सहना पड़ा था <br />सात बार बच्चो की मृत्यु का दुःख<br />लेकिन समष्टि हित व्यष्टि हित से बड़ा है..<br />और यही इन्सान का परम धरम है..<br /><br />और बेशक कंस बलशाली था<br />मार सकता था अपनी बहन को<br />पर कहते हैं ना मारने वाले से <br />बचाने वाला बड़ा है..<br />तो...<br />हो सकता है की ये भी <br />देवताओं की चाल हो..<br />और सरस्वती ने किया <br />कुछ कमाल हो...<br />फेर दी उसकी बुद्धि<br />और कंस के हाथो <br />ना होने दिया ये पाप हो.अनामिका की सदायें ......https://www.blogger.com/profile/08628292381461467192noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-36650545887546895452010-05-08T20:59:17.288+05:302010-05-08T20:59:17.288+05:30hamesha ki trahn sandaar...rawan ab kans aage kon....hamesha ki trahn sandaar...rawan ab kans aage kon..intzaar hai.Tejhttps://www.blogger.com/profile/07239419875368579533noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-57148655800769790302010-05-08T19:59:18.275+05:302010-05-08T19:59:18.275+05:30बहुत अच्छी प्रस्तुति।
इसे 09.05.10 की चर्चा मंच (स...बहुत अच्छी प्रस्तुति।<br />इसे 09.05.10 की चर्चा मंच (सुबह 06 बजे) में शामिल किया गया है।<br />http://charchamanch.blogspot.com/मनोज कुमारhttps://www.blogger.com/profile/08566976083330111264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-10769271974063090172010-05-08T16:27:17.941+05:302010-05-08T16:27:17.941+05:30महाकाव्यात्मक पात्रों का चरित्र चित्रण समय की मां...महाकाव्यात्मक पात्रों का चरित्र चित्रण समय की मांग के अनुसार होता है । किसी महाकाव्य में सम्भव भी नही होता उसकी चरित्रगत सपूर्ण विशेषताओं को प्रदर्शित करना । आपने इस दिशा में कलम उठाई है अच्छा लगा ।शरद कोकासhttps://www.blogger.com/profile/09435360513561915427noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-69082772553320159252010-05-08T16:04:36.474+05:302010-05-08T16:04:36.474+05:30bahut khub didibahut khub didiMithilesh dubeyhttps://www.blogger.com/profile/14946039933092627903noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-43337141029386369952010-05-08T16:01:51.212+05:302010-05-08T16:01:51.212+05:30बुरा भला है - भला बुरा है, खोटे पर सब खरा भला है !...बुरा भला है - भला बुरा है, खोटे पर सब खरा भला है !!शिवम् मिश्राhttps://www.blogger.com/profile/07241309587790633372noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-9110668011701423192010-05-08T15:38:08.288+05:302010-05-08T15:38:08.288+05:30आजकल विलेन वरशिप चल रही है अदा जी ।
वैसे ज...आजकल विलेन वरशिप चल रही है अदा जी ।<br />वैसे जन्म से कोई दुष्ट नहीं होता ।<br />ये तो इंसान के कर्म हैं , जो उसे अच्छा या बुरा बनाते हैं।डॉ टी एस दरालhttps://www.blogger.com/profile/16674553361981740487noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-20471458671661283692010-05-08T15:13:52.435+05:302010-05-08T15:13:52.435+05:30किसी ने कंस से नहीं पूछा वर्ना वह बताता कि वह कैसे...किसी ने कंस से नहीं पूछा वर्ना वह बताता कि वह कैसे ठीक था.Kajal Kumar's Cartoons काजल कुमार के कार्टूनhttps://www.blogger.com/profile/12838561353574058176noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-38310098805757328692010-05-08T14:34:16.736+05:302010-05-08T14:34:16.736+05:30devki k pass burai ko mitane ka uske paas yahi ek ...devki k pass burai ko mitane ka uske paas yahi ek tarika tha<br />manta hun kans ki mritu k liye saat bachhon ki maut ho gyi lekin <br />ravan k pap k samne ye kuch masum jane koi mtlab nahi rakhti aur sach riston se bada hota haiShri"helping nature"https://www.blogger.com/profile/03420975378972936187noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-36020313982475511232010-05-08T13:50:36.588+05:302010-05-08T13:50:36.588+05:30कुछ अलग हटकर है ये रचना, रचना तो सुन्दर है लेकिन ह...कुछ अलग हटकर है ये रचना, रचना तो सुन्दर है लेकिन हर इंसान का अपना नजरिया होता है, और ज़रूरी नहीं है की हर कोई आपके नजरिये से सहमत हो, कंश का भगिनी प्रेम तो समझ आता है पर महिमामंडन नहीं!nilesh mathurhttps://www.blogger.com/profile/15049539649156739254noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-38305666325773403932010-05-08T13:28:49.962+05:302010-05-08T13:28:49.962+05:30काव्य के बारे मैं अज्ञानी हूं।
मगर इस रचना को पढकर...काव्य के बारे मैं अज्ञानी हूं।<br />मगर इस रचना को पढकर एक विचार आता है कि यह कंस का बहन प्रेम नही था।<br />बहन को एक बार मारने के बजाय उसने 7 बार अपनी बहन और एक मां की हत्या की थी। कैसे जी रही होगी देवकी ये देख और सह कर।<br />इससे तो बढिया ये रहता कि देवकी को गर्भवती होने की सुविधा ही ना देता।<br /><br />प्रणामअन्तर सोहिलhttps://www.blogger.com/profile/06744973625395179353noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-80070562469348685242010-05-08T12:53:28.685+05:302010-05-08T12:53:28.685+05:30वैसे एक घटना और है , जिसपर गौर किया जा सकता है !
आ...वैसे एक घटना और है , जिसपर गौर किया जा सकता है !<br />आकाशवाणी सुनने के बाद कंस की पहली प्रतिक्रया तो <br />देवकी को मारने की हुई थी , मैं कहूंगा कि वहाँ वासुदेव का <br />प्रिया-प्रेम विजयी हुआ था कंस के भगिनी-प्रेम पर ! नहीं तो <br />वहीं गला काट देता कंस अपनी इस प्यारी-बेचारी बहना का ! <br />............<br />फिर भी कविता में एक अलग नजरिया है , जो कि अच्छा लगा ! आभार !Amrendra Nath Tripathihttps://www.blogger.com/profile/15162902441907572888noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-82682646274428987682010-05-08T12:49:55.350+05:302010-05-08T12:49:55.350+05:30bada badhiya nazariya hai cheezo ko dekhne ka aapk...bada badhiya nazariya hai cheezo ko dekhne ka aapka...aapse sehmat hua main bhi...दिलीपhttps://www.blogger.com/profile/15304203780968402944noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-91463506894230893062010-05-08T11:58:33.885+05:302010-05-08T11:58:33.885+05:30achhi baat likhiachhi baat likhiसंजय कुमार चौरसियाhttps://www.blogger.com/profile/06844178233743353853noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-16253343836541419092010-05-08T11:58:33.886+05:302010-05-08T11:58:33.886+05:30ye bas apne apne dekhne ka nazariya hai.yaa shayad...ye bas apne apne dekhne ka nazariya hai.yaa shayad kanha ki lila,wahi tho racheta baseta hai,aisa kehta hai.mehekhttps://www.blogger.com/profile/09699913237708970128noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-23478419451838995832010-05-08T10:46:50.662+05:302010-05-08T10:46:50.662+05:30अधर्म की ठेकेदारी का अच्छा तरीका ढूंढा है आपनेअधर्म की ठेकेदारी का अच्छा तरीका ढूंढा है आपनेAnonymoushttps://www.blogger.com/profile/02964602014678479457noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-68283245702382197032010-05-08T10:45:29.073+05:302010-05-08T10:45:29.073+05:30संसार में न कोई भला है न बुरा, केवल विचार ही उसे भ...संसार में न कोई भला है न बुरा, केवल विचार ही उसे भला-बुरा बना देते हैं।मनोज कुमारhttps://www.blogger.com/profile/08566976083330111264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-40391591190481918982010-05-08T09:40:50.386+05:302010-05-08T09:40:50.386+05:30सबका अपना -अपना मत हो सकता है । मेरे यहाँ आने का श...सबका अपना -अपना मत हो सकता है । मेरे यहाँ आने का शुक्रिया ।सुशीला पुरीhttps://www.blogger.com/profile/18122925656609079793noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-89126408813717970272010-05-08T08:49:57.801+05:302010-05-08T08:49:57.801+05:30अदा जी,
क्या बात है, पहले रावण, अब कंस...कल क्या द...अदा जी,<br />क्या बात है, पहले रावण, अब कंस...कल क्या दुर्योधन की बारी आएगी...<br /><br />वैसे भी आजकल फिल्मों में हीरो से ज़्यादा एंटी हीरो या विलेन के कारनामों पर तालियां बजती हैं...मसलन डर में शाहरुख ख़ान, धूम वन में जॉन अब्राहम और धूम टू में रितिक रोशन...<br /><br />जय हिंद...Khushdeep Sehgalhttps://www.blogger.com/profile/14584664575155747243noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-57538610597471863322010-05-08T08:48:40.567+05:302010-05-08T08:48:40.567+05:30कंस को हमारे राजनेताओं से पाठ लेना चाहिए ...कंस को हमारे राजनेताओं से पाठ लेना चाहिए ...Indranil Bhattacharjee ........."सैल"https://www.blogger.com/profile/01082708936301730526noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-71929670751630865422010-05-08T08:37:36.916+05:302010-05-08T08:37:36.916+05:30कंस का भगिनी प्रेम किसी ने नहीं स्वीकारा है
और मै...कंस का भगिनी प्रेम किसी ने नहीं स्वीकारा है <br />और मैं कहती हूँ कुछ भी कहिये कंस भगिनी प्रेम से हारा है..<br />...... wahi Itihaas kaaljaye aur anukarniya hai jisne vikat prasthitiyon mein bhi sach ka saath n chhoda ho... <br />Aapne kans ke madhayam se vartaman ke liye ek naya sandesh diya hai...<br />Bahut shubhkamnayneकविता रावत https://www.blogger.com/profile/17910538120058683581noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-28679422475943713812010-05-08T08:06:35.944+05:302010-05-08T08:06:35.944+05:30अलग सा दृष्टिकोण लिए बढ़िया रचना!अलग सा दृष्टिकोण लिए बढ़िया रचना!डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'https://www.blogger.com/profile/09313147050002054907noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-68581521444647313552010-05-08T08:04:11.839+05:302010-05-08T08:04:11.839+05:30मैं सहमत हूं ,
मुझे भी ऐसा कई बार लगता है
सबसे...मैं सहमत हूं , <br /><br />मुझे भी ऐसा कई बार लगता है <br /><br />सबसे बड़ी बात तो ये है कि जहाँ महिला ब्लोगेर्स समाधान निकालने के स्थान पर बेवजह पुरुष समाज को कोसने मे तल्लीन है ...<br /><br /><br />...वहीं ये पोस्ट विचारों की गहनता, सकारात्मकता, स्वतंत्रता का सच्चा प्रतीक हैएक बेहद साधारण पाठकhttps://www.blogger.com/profile/14658675333407980521noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6781060934347160913.post-92113437985095546032010-05-08T05:46:21.016+05:302010-05-08T05:46:21.016+05:30ये तो कंस के कृत्य को जस्टीफाई करने वाली बात सी हो...ये तो कंस के कृत्य को जस्टीफाई करने वाली बात सी हो गई. <br /><br />कंस का भगिनी प्रेम-यूँ तो हर निन्दनीय कृत्य के पीछे एक कारण किसी और दृष्टिकोण से खोजा जा सकता है जो उसे जस्टीफाई कर दे, वरना तो कृत्य होता ही क्यूँ...<br /><br />खैर, यह भी एक नज़रिया ही कहलाया.Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.com